गाजियाबाद में वकीलों ने रोड किया जाम, पश्चिमी यूपी में कई जिलों में प्रदर्शन
गाजियाबाद। पश्चिमी उत्तर प्रदेश के अधिवक्ताओं ने गाजियाबाद में बैठक के दौरान 22 जिलों में रोजाना हर जिले में एक सड़क जाम करने का निर्णय लिया। आज सोमवार को गाजियाबाद में वकीलों ने हापुड़ रोड को जाम कर दिया। प्रदर्शन के दौरान वकील सड़कों पर बैठ गए। अधिवक्ताओं का दो घंटे रोड जाम कर प्रदर्शन समाप्त हो गया है। सोमवार सुबह 12 बजे से 2 बजे तक सड़क जाम करने के बाद वकीलों ने दोबारा धरना शुरू कर दिया। सड़क जाम के दौरान लोगों को काफी परेशानी हुई।हालांकि पुलिस ने नए बस अड्डे की तरफ से आने वाले वाहनों को हापुड़ तिराहे और गोविंदपुरम की तरफ से आने वाले वाहनों को हापुर चुंगी पर डायवर्ट कर दिया था। वकील 29 अक्टूबर को कोर्ट रूम लाठीचार्ज के मामले में जिला जज अनिल कुमार को बर्खास्त करने और दोषी पुलिसकर्मियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग कर रहे हैं। इसके अलावा लाठीचार्ज के विरोध में मुरादाबाद के वकील भी अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले गए हैं। मुरादाबाद में वकीलों ने सोमवार को प्रदर्शन कर सड़क जाम कर दिया। इससे राहगीरों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा।ग्रेटर नोएडा के सूरजपुर स्थित जिला अदालत के अधिवक्ताओं ने सोमवार सुबह कलेक्ट्रेट परिसर के बाहर धरना प्रदर्शन कर सड़क जाम किया। जिससे राहगीरों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा। अधिवक्ताओं की यह हड़ताल गाजियाबाद में एक वकील पर हुए हमले के विरोध में है। इस घटना को लेकर वकीलों में आक्रोश है और जिला जज के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग कर रहे हैं।पश्चिमी उत्तर प्रदेश के अधिवक्ताओं ने शुक्रवार को गाजियाबाद में बैठक के दौरान 22 जिलों में रोजाना हर जिले में एक सड़क जाम करने का निर्णय लिया था। गाजियाबाद के अधिवक्ता दिवाली के बाद अभी तक काम पर नहीं लौटे हैं।29 अक्टूबर को एक जमानत अर्जी पर बहस को लेकर जज अनिल कुमार की कोर्ट में वकीलों के साथ हुई तीखी नोंकझोक के बाद पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया गया था। कोर्ट रूम में लाठीचार्ज के बाद गाजियाबाद समेत पूरे प्रदेश और यहां तक की दिल्ली के अधिवक्ता भी आक्रोशित हो गए। मामले को बार काउंसिल ऑफ उत्तर प्रदेश के साथ ही इलाहाबाद हाई कोर्ट बार एसोसिएशन और सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएशन ने भी गंभीरता से लिया था। इस घटना के विरोध में वकील चार नवंबर से हड़ताल पर चले गए। गाजियाबाद के अधिवक्ताओं के समर्थन में पहले दिन पूरे प्रदेश के अधिवक्ताओं ने काम का बहिष्कार कर विरोध दिवस मनाया। विरोध दिवस में इलाहाबाद हाई कोर्ट, लखनऊ बैंच और दिल्ली के जिला बार एसोसिएशन भी काम से विरत रहे। गाजियाबाद के वकील उसी दिन से हड़ताल कर धरने पर बैठे हैं।अधिवक्ता रोज दोपहर 12 से दो बजे तक कचहरी के बाहर सड़क भी जाम करेंगे। इसी मुद्दे पर अधिवक्ताओं ने 16 को महापंचायत भी बुलाई है।गाजियाबाद बार एसोसिएशन के अध्यक्ष दीपक शर्मा ने बताया कि मेरठ, सहारनपुर, मुरादाबाद, अलीगढ़ और आगरा मंडल के जिले गाजियाबाद, मेरठ, हापुड़, बागपत, नोएडा, बुलंदशहर, सहारनपुर, शामली, मुजफ्फरनगर, अमरोहा और मुरादाबाद समेत 22 जिलों के अधिवक्ता एकजुट होकर इस आंदोलन को चला रहे हैं।पश्चिम उत्तर प्रदेश खंडपीठ स्थापना संघर्ष समिति से जुड़ी इन 22 जिलों की बार के पदाधिकारियों ने गाजियाबाद कचहरी में बैठक करके इसका निर्णय लिया था। गाजियाबाद बार एसोसिएशन इस आंदोलन का नेतृत्व कर रही है। जिला जज को हटाए जाने तक यह आंदोलन न केवल जारी रहेगा बल्कि दिन प्रतिदिन तेज होता रहेगा। अगर वकीलों की मांग पूरी नहीं हुई तो आंदोलन का दायरा और बढ़ा दिया जाएगा।