बरेली। आला हजरत हेल्पिंग सोसाइटी की अध्यक्ष और महिला अधिकार कार्यकर्ता निदा खान को अदालत ने बड़ी राहत दी है। जिला जज विनोद कुमार की अदालत ने घरेलू हिंसा के मामले में निदा के प्रतिकर के भुगतान को तीन लाख से बढ़ाकर दस लाख रुपये कर दिया है और मकान किराये को चार हजार से बढ़ाकर दस हजार रुपये कर दिया है। इस आदेश के आने के बाद उनको जान से मारने की धमकियां भी दी जा रही हैं। इसी बीच निदा खान ने पुलिस से अपने पक्ष में हुए अदालती आदेशों के मुताबिक कार्रवाई कराने की मांग की है। बारादरी के शहदाना की रहने वाली निदा खान अपने पति शीरान रजा खां व अन्य के खिलाफ घरेलू हिंसा व अन्य मुकदमों को लड़ रही हैं। दुनिया के बड़े दीनी मरकज आला हजरत से जुड़े परिवार में हुई शीरान और निदा की शादी में विवाद हो गया था। मामला अदालत तक पहुंचा तब यह मसला बेहद चर्चित हो गया। अभी दो दिन पहले जिला न्यायाधीश की कोर्ट में इस मामले में फैसला सुनाया गया, जिसमें कहा गया कि किराये की मद में जो चार हजार रुपये प्रतिमाह दिलाये जाने का जो आदेश पारित किया गया था, उसे बढ़ाकर दस हजार रुपये प्रतिमाह कर दिया गया है। साथ ही तीन लाख रुपये के एक मुश्त प्रतिकर दिलाने के आदेश को बदलकर दस लाख रुपये कर दिया गया है।अदालत के इस आदेश के मीडिया में आते ही निदा के पास जान से मारने की तरह तरह की धमकियां आने लगीं, जिसको उन्होंने शासन व प्रशासन को बता भी दिया। इस बीच इस मामले में लम्बी लड़ाई लड रहीं निदा खान ने आज प्रभारी निरीक्षक कोतवाली को अपना एक पत्र भेजा है। जिसमें उन्होंने कहा है कि कोर्ट ने उनको एक मुश्क दस लाख रुपये दिलाये जाने, 15 हजार रुपये प्रतिमाह व सारा सामान वापसी, घरेलू हिंसा करने पर ससुराल वालों को रोकना, गृहस्थी में निवास आदि शामिल है। इस फैसले की कापी कोतवाली प्रभारी को भेजी गई है। उन्होंने न्यायालय के आदेश के मुताबिक खुद को न्याय दिलाये जाने की मांग की है। फिलहाल यह चर्चा है कि निदा खान जल्द ही पुलिस के पास जाकर अपने आदेश के अनुपालन की मांग करेंगी।