बदायूँ: आज “हमहैं” के संस्थापक एवं वरिष्ठ समाजसेवी डॉ शैलेश पाठक दातागंज के ईरिक्शा चालकों को लेकर जिलाधिकारी से मिले। डॉ पाठक ने कहा कि आज रिक्शा चालकों के रजिस्ट्रेशन को लेकर अचानक पुलिस द्वारा एवं परिवहन अधिकारी द्वारा जगह-जगह रोका जा रहा है जो कि सरासर गलत है।इसके लिए प्रशासन को तत्काल एक नीति बनानी चाहिए जिससे सुगमता पूर्वक रिक्शा चालकों के दैनिक जीवन पर प्रभाव ना पड़े। एक रिक्शा चालक अपने कई वर्षों का धन संचित करके रिक्शा खरीद कर अपना गुजारा भत्ता करता है।ऐसे में अचानक कार्यवाही करना बिल्कुल न्यायोचित नहीं है। डॉ पाठक के प्रशासन से विनम्र निवेदन किया कि एक ऐसी योजना बना दी जाए जिसमें रिक्शा चालकों को कम से कम 3 वर्ष का समय देकर नगर पालिका एवं तहसील प्रशासन द्वारा नंबर अलाट करा दिया जाए जिस पर रिक्शा चालकों को भी समझौता पूर्वक मिलकर कार्य करना चाहिए। उन्होंने कहा यदि रिक्शा चालकों को पुनः अवसर नहीं दिया गया तो कोरोना काल में पहले से आर्थिक तंगी भोगने वाले ये लोग और उनका परिवार अवसाद में कोई भी कदम उठाने को मजबूर हो जाएंगे। डॉ पाठक ने समस्त सामाजिक संगठनों से भी रिक्शा चालकों का साथ देने का निवेदन किया। इसके पूर्व में भी डॉक्टर पाठक ने कई दिन बंद पड़ी ओ पी डी और व्यापारियों की समस्या को बड़े सिरे से उठा के कई दिन से बंद बाज़ार खुलवाया एवं पूरे उत्तर प्रदेश में शिक्षामित्रों की हो रही आत्महत्या जैसे विषम मुद्दे के लिए जागरूकता फैलायी।अपने निस्वार्थ कार्यों के किए जाने वाले डॉक्टर पाठक ने आज फिर एक बार उस आवाज़ को उठाया जिसकी आवाज़ दबायी जाती रही है।ईरिक्शा चालकों की समस्या को भी पूरी गंभीरता से सुना एवं प्रसाशन के सामने उनकी समस्या रखी।