16 साल तक मृत पिता बनकर लेता रहा पेंशन, 75 लाख की रिकवरी
बरेली। बरेली से एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है, जिसमें एक शख्स ने अपने पिता की मौत छुपाकर 16 साल तक लगातार पेंशन हासिल की। मृत पिता की पहचान का दुरुपयोग करते हुए उसने पिता की उम्र 105 वर्ष तक दर्ज करवाई और करीब रु. 75 लाख सरकारी धन को हड़प लिया। मामला उजागर होते ही जिला प्रशासन और ट्रेजरी विभाग ने मिलकर बिना किसी कानूनी मुकदमे के पूरे 75 लाख रुपये की वसूली कर एक मिसाल पेश की है। पूरा मामला राजकीय कोषागार, बरेली से जुड़ा है। जानकारी के अनुसार बरेली निवासी सोहनलाल शर्मा, बदायूं के एक इंटर कॉलेज में शिक्षक थे। सेवानिवृत्ति के बाद वर्ष 2008 में उनका निधन हो गया। इसके बावजूद उनके पुत्र उमेश भारद्वाज ने पिता की मौत की सूचना छुपाए रखी और ट्रेजरी कर्मचारियों की मिलीभगत से मृत पिता के नाम से पेंशन लेना शुरू कर दिया। कथित रूप से उमेश, पेंशन की मोटी रकम का हिस्सा कोषागार के कर्मचारियों में भी बांटता रहा, जिसके चलते यह गोरखधंधा वर्षों तक बिना किसी बाधा के चलता रहा। 2008 से फ़रवरी 2025 तक वह करीब 75 लाख रुपये पेंशन निकाल चुका था। 15 फरवरी को यह बड़ा फर्जीवाड़ा पकड़ा गया। मामले के सामने आते ही जिलाधिकारी बरेली ने मुख्य ट्रेजरी अधिकारी शैलेश कुमार की निगरानी में विशेष टीम गठित कर कार्रवाई शुरू कराई। ट्रेजरी अधिकारी शैलेश कुमार ने बिना कोर्ट-कचहरी और मुकदमे बाजी में उलझे, शासकीय धन की रिकवरी को प्राथमिकता बनाते हुए रणनीति तैयार की और पूरे 75 लाख रुपये की एकमुश्त वसूली कर ली। अधिकारियों के इस त्वरित प्रयास ने न केवल सरकारी खजाना सुरक्षित किया, बल्कि प्रदेश के अन्य विभागों के लिए भी मिसाल पेश की है। यह सफल कार्रवाई उन तमाम महकमों के लिए उदाहरण बनकर सामने आई है, जहां लापरवाही व भ्रष्टाचार के चलते भारी-भरकम सरकारी धन बट्टे खाते में जा चुका है। विशेषज्ञ मानते हैं कि यदि बरेली की तर्ज पर अन्य विभाग भी सक्रियता दिखाएं, तो प्रदेश और देश के विभिन्न विभागों का डूबा धन वापस पाया जा सकता है, जिससे आर्थिक व्यवस्था को मजबूती मिलेगी।मुख्य ट्रेजरी अधिकारी शैलेश कुमार ने कहा कि हमारा उद्देश्य केवल शासकीय धन की एक-एक पाई की वसूली करना था। बिना किसी कानूनी प्रक्रिया में देर किए, टीमवर्क के माध्यम से पूरी राशि वापस ले ली गई है।”




















































































