शाहजहाँपुर। राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 का उद्देश्य विद्यार्थियों के सर्वांगीण विकास को प्रोत्साहित करना है। यह नीति शिक्षा प्रणाली को अधिक लचीला और समावेशी बनाकर विद्यार्थियों को आत्मनिर्भर बनने में सहायक सिद्ध होती है। उक्त विचार स्वामी शुकदेवानन्द महाविद्यालय के मुख्य अधिष्ठाता एवं कार्यक्रम अध्यक्ष स्वामी चिन्मयानन्द सरस्वती जी महाराज ने आज दिनांक 1 अगस्त 2025 को बी.एससी. बायोलॉजी प्रथम सेमेस्टर के “ओरिएंटेशन” कार्यक्रम के उद्घाटन अवसर पर व्यक्त किए। कार्यक्रम का आयोजन दो सत्रों में किया गया। प्रथम सत्र में महाविद्यालय के सचिव डॉ. अवनीश मिश्रा ने कहा कि शिक्षा और रोजगार समाज के दो अत्यंत महत्वपूर्ण स्तंभ हैं, जो न केवल व्यक्ति के व्यक्तिगत विकास में बल्कि देश की आर्थिक समृद्धि में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। उन्होंने कहा कि शिक्षा केवल ज्ञान प्राप्त करने का माध्यम नहीं है, बल्कि यह एक समग्र व्यक्तित्व निर्माण की प्रक्रिया है। महाविद्यालय के प्राचार्य प्रोफेसर (डॉ.) राकेश कुमार आज़ाद ने अपने संबोधन में बताया कि पूर्व सत्रों की भांति इस सत्र में भी जीव विज्ञान विभाग (बायोलॉजी) द्वारा सबसे पहले प्रवेश प्रक्रिया पूर्ण की गई है, तथा कक्षाएँ भी सर्वप्रथम आरंभ की गई हैं। उन्होंने विद्यार्थियों से नियमित अध्ययन और अनुशासित दिनचर्या अपनाने का आह्वान किया ताकि वे समाज और राष्ट्र की उन्नति में प्रभावी योगदान दे सकें। द्वितीय सत्र में विद्यार्थियों को राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020, पाठ्यक्रम की संरचना, प्रायोगिक कार्यों एवं परीक्षा प्रणाली के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई। साथ ही विद्यार्थियों को पहचान पत्र एवं पुस्तकालय कार्ड वितरित किए गए। इस अवसर पर डॉ. रमेश चंद्रा, डॉ. मुमताज़ हुसैन, डॉ. शिखा सक्सेना, डॉ. निधि त्रिपाठी, शिवांगी शुक्ला, आकांक्षा गुप्ता, साक्षी पाण्डेय, मोहित पाण्डेय, कोमल सिंह, देव प्रिय, मनोज कुमार, विशेष सक्सेना, दीपक एवं अजय की उपस्थिति रही। कार्यक्रम का संचालन डॉ. केशव शुक्ला ने किया तथा आभार प्रदर्शन वनस्पति विज्ञान विभागाध्यक्ष डॉ. आदर्श पाण्डेय द्वारा किया गया।