बदायूं में विहिप ने वंदे मातरम समारोह सप्ताह के तहत चौक पर भगत सिंह की प्रतिमा पर पुष्प अर्पित किए
बदायूं। विश्व हिंदू परिषद ने वंदे मातरम समारोह सप्ताह के अंतर्गत भगतसिंह चौक पर जिला अध्यक्ष नीरज रस्तोगी ने कार्यक्रम का प्रारम्भ भगतसिंह की प्रतिमा पर पुष्प माला चढ़कर किया । जिला मंत्री उज्जवल गुप्ता ने कहा कि बंकिम चंद्र चट्टोपाध्याय ने बंगाल के कांतलपाड़ा गांव में जब 7 नवंबर, 1876 में वंदे मातरम् गीत की रचना की तब उनके मानस में शायद ही यह होगा कि यह गीत स्वतंत्रता आंदोलन में आजादी के दिवानों का प्रेरक होने के साथ ही आजादी के बाद भी देश की राष्ट्रीय एकता और मातृभूमि के प्रति प्रेम और श्रृ़द्धा का प्रतीक बन जाएगा। वंदे मातरम् में जिस तरह से मॉ भारती की स्तुति की गई है वह हमारी पहचान और गौरवपूर्ण सांस्कृतिक विरासत से रुबरु कराने का माध्यम बन गई। 1870 के भयंकार अकाल और अंग्रेजों द्वारा महारानी की शान में गौड़ सेव क्वीन के लिए बाध्य करने की प्रतिक्रिया के रुप में वंदे मातरम् की आधार भूमि तैयार हुई। कुछ समय बाद ही बंकिम चंद्र चट्टोपाध्याय के उपन्यास आनंद मठ में वंदे मातरम् को प्रमुख स्थान दिया गया। आनंद मठ भी गुलामी से मुक्ति और अंग्रेजों के प्रति विद्रोह की भावना से ओतप्रोत उपन्यास होने से आजादी के आंदोलन ही नहीं आज भी प्रेरणा का स्रोत है। आनंद मठ में भवानन्द संन्यासी संन्यासी विद्रोहियों का नेतृत्व करते हुए यह गीत गाते हैं। वंदे मातरम् गीत की गंभीरता को इसी से समझा जा सकता है कि गुरुवर रविन्द्र नाथ टैगोर ने 1896 के कांग्रेस के सम्मेलन में इसे अपने स्वर देते हुए स्वयं गाया। उसके बाद तो वंदे मातरम् भारत की आत्मा ही बन गया। स्वतंत्रता आंदोलन के सेनानियों के लिए तो वंदे मातरम् जयघोष ही बन गया। 1905 में बंगाल विभाजन के विरोध का मार्च गीत ही वंदे मातरम् रहा। हालांकि वंदे मातरम् को लेकर मुस्लिम लीग आदि ने सांप्रदायिकता, धर्म विशेष से प्रेरित और मां दुर्गा को लेकर विरोध व्यक्त किया गया और यही कारण रहा कि वंदे मातरम् गीत के आरंभिक दो छंदों को ही कांग्रेस द्वारा राष्ट्रगीत के रुप में स्वीकारा गया।इस मौके पर महेंद्रपाल सिंह,नीरज कोचर,अरविंद गुप्ता,राजेश बाबू , हरिओम पाठक,अमन साहू,अमन शर्मा,वैभव गुप्ता,मयूर गुप्ता,अचल सक्सेना,शुभम् रस्तोगी आदि लोग मजूद रहे l




















































































